🕌 हाईकोर्ट से मुस्लिम पक्ष को झटका, सर्वे पर नहीं लगेगी रोक
प्रयागराज — संभल के बहुचर्चित जामा मस्जिद और हरिहर मंदिर विवाद में इलाहाबाद हाईकोर्ट ने सोमवार को अहम फैसला सुनाया है। मुस्लिम पक्ष की ओर से दायर पुनर्विचार याचिका को खारिज कर दिया गया है 📜❌। यह याचिका सिविल कोर्ट द्वारा एएसआई सर्वे के आदेश को चुनौती देने के लिए दाखिल की गई थी।
इस फैसले के बाद साफ हो गया है कि अब पुरातत्व सर्वेक्षण (ASI) की प्रक्रिया पर कोई रोक नहीं लगेगी 🕵️♂️📐।
🧑⚖️ कोर्ट ने क्या कहा?
न्यायमूर्ति रोहित रंजन अग्रवाल की अदालत में हिंदू पक्ष की ओर से हरिशंकर जैन और एएसआई के अधिवक्ता के तर्क सुने गए। मस्जिद कमेटी की याचिका को सुनने के बाद कोर्ट ने सर्वे पर रोक लगाने से इनकार कर दिया।
इससे पहले संभल की अदालत ने मस्जिद का सर्वे करने के लिए एडवोकेट कमिश्नर नियुक्त किया था, जिसे मुस्लिम पक्ष ने हाईकोर्ट में चुनौती दी थी।
🚨 अगली सुनवाई 12 जून को, मस्जिद कमेटी को ‘रिज्वाइंडर’ दाखिल करने का निर्देश
हाईकोर्ट ने अब मस्जिद कमेटी को ‘रिज्वाइंडर’ (जवाबी हलफनामा) दाखिल करने का निर्देश दिया है। अदालत ने मामले की अगली सुनवाई की तारीख 12 जून तय की है।
हिंदू पक्ष का दावा है कि हरिहर मंदिर को तोड़कर ही यह मस्जिद बनाई गई थी, और वे वहां पूजा करने का अधिकार चाहते हैं।
🛑 कोर्ट के फैसले के बाद पुलिस अलर्ट, संभल में सुरक्षा व्यवस्था कड़ी
जैसे ही हाईकोर्ट का फैसला आया, संभल में संवेदनशीलता बढ़ गई। कानून व्यवस्था बनाए रखने के लिए पुलिस बल की भारी तैनाती कर दी गई है 👮♂️🚓। एसपी केके विश्नोई ने खुद मौके पर मोर्चा संभाला और इलाके में फ्लैग मार्च किया।
🔹 PAC, RAF और लोकल पुलिस की संयुक्त टीमें
🔹 मस्जिद के आसपास बढ़ाई गई पेट्रोलिंग
🔹 सोशल मीडिया पर साइबर टीम की सख्त निगरानी 👀📱
एसपी विश्नोई ने कहा कि किसी भी अफवाह या भड़काऊ पोस्ट पर सख्त कानूनी कार्रवाई की जाएगी। जनता से संयम बरतने और शांति बनाए रखने की अपील की गई है।
🕯️ 24 नवंबर की हिंसा की यादें फिर ताज़ा
बीते साल 24 नवंबर 2024 को जब एडवोकेट कमिशन की टीम मस्जिद में सर्वे के लिए पहुंची थी, तब इलाके में हिंसक झड़पें हुई थीं, जिसमें 4 लोगों की मौत हो गई थी। इस बार प्रशासन कोई जोखिम नहीं लेना चाहता।
🔍 वर्तमान हालात: पूरी मुस्तैदी से तैनात फोर्स
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सोशल मीडिया पर हर गतिविधि पर नजर
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पुलिस अधिकारी कर रहे हालात की निगरानी
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सुप्रीम कोर्ट में मस्जिद कमेटी ने विशेष याचिका पहले ही दायर कर रखी है ⚖️
प्रशासन का साफ संदेश है — “कानून व्यवस्था से कोई समझौता नहीं होगा।” 🤝⚖️