🛡️ 7 मई को होगा युद्ध जैसे हालात का मॉकड्रिल, तैयारियां जोरों पर!
🔔 ग्वालियर। भारत-पाकिस्तान के बीच तनावपूर्ण हालातों के बीच ग्वालियर समेत देश के 244 प्रमुख शहरों को हाई अलर्ट पर रखा गया है। इन्हीं तैयारियों के तहत 7 मई 2025 को ग्वालियर में युद्ध परिदृश्य आधारित मॉक ड्रिल आयोजित की जाएगी, जिसका उद्देश्य आमजन की सुरक्षा और प्रशासन की तत्परता का परीक्षण करना है।
📍 बाल भवन में अफसरों को दिए गए जरूरी टिप्स
मॉक ड्रिल से पहले भोपाल से पहुंचे आपदा प्रबंधन विशेषज्ञ सौरभ कुमार और बृजेश जैसवानी ने बाल भवन में जिले के अधिकारियों को महत्वपूर्ण निर्देश दिए।
इस कार्यशाला में डिप्टी कलेक्टर वंदना जैन, एसडीएम देवकी नंदन सिंह, सीएसपी नागेन्द्र सिंह, डीएसपी अजीत चौहान और आरआई रंजीत सिंह सिकरवार भी मौजूद रहे।
🏥 बिरला अस्पताल बनेगा नोडल केंद्र
ड्रिल के दौरान ITM तिराहा पर एक नकली दुर्घटना (बस और कंटेनर की टक्कर) को दर्शाया जाएगा, जिसमें घायल लोगों को ग्रीन कॉरिडोर बनाकर बिरला अस्पताल पहुंचाया जाएगा।
➡️ डिप्टी कलेक्टर वंदना जैन ने बताया कि ग्रीन कॉरिडोर के संचालन के लिए पुलिस टीम को विशेष निर्देश जारी कर दिए गए हैं ताकि घायलों को समय पर इलाज मिल सके।
🚨 ग्वालियर क्यों है दुश्मनों के निशाने पर?
ग्वालियर शहर को देश के उन संवेदनशील 244 शहरों में शामिल किया गया है, जो युद्ध की स्थिति में दुश्मन देशों के संभावित निशाने पर हो सकते हैं।
इसके प्रमुख कारण:
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सैन्य छावनी और एयरफोर्स स्टेशन (सुखोई व मिराज जैसे लड़ाकू विमान यहीं तैनात)
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डीआरडीई, सीआरपीएफ व बीएसएफ के प्रशिक्षण केंद्र
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पहलगाम जैसी घटनाओं के बाद से इन स्थानों पर सतर्कता और भी बढ़ा दी गई है।
🔍 मॉकड्रिल क्यों है ज़रूरी?
💡 युद्ध या आपदा के समय नागरिकों की सुरक्षा, राहत सामग्री की निर्बाध आपूर्ति और आपातकालीन सेवाओं का संचालन सुनिश्चित करने में सिविल डिफेंस की अहम भूमिका होती है।
यह मॉकड्रिल इसी तैयारी का एक भाग है ताकि प्रशासनिक अमला संकट की घड़ी में तेज़, सटीक और प्रभावी ढंग से कार्य कर सके।
📝 नोट: नागरिकों से आग्रह किया गया है कि मॉकड्रिल के समय संयम बरतें और अफवाहों से बचें। यह अभ्यास आपकी सुरक्षा और जागरूकता के लिए है।